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बजट 2025: टैक्सपेयर्स के लिए बड़ी राहत | अब 12 लाख रुपये सालाना कमाने वालों को होगी ₹80,000 की बचत

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Union Budget 2025
Union Budget 2025

केंद्रीय बजट 2025: बड़े टैक्स सुधार और आर्थिक पहल

1 फरवरी 2025 को, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने लोकसभा में केंद्रीय बजट 2025 पेश किया। यह उनका लगातार आठवां बजट था। इस बार का बजट बड़े टैक्स सुधारों और आर्थिक सुधारों के साथ आया है, जिसका उद्देश्य देश की अर्थव्यवस्था को मजबूत करना, आम नागरिकों को राहत देना और वित्तीय समावेशन को बढ़ावा देना है।

आयकर में बदलाव: टैक्सपेयर्स के लिए राहत

इस साल का सबसे महत्वपूर्ण बदलाव आयकर स्लैब में किया गया है। अब ₹12.75 लाख तक की आय पर कोई टैक्स नहीं देना होगा, जिससे 1 करोड़ से अधिक लोगों को फायदा होगा। नए टैक्स स्लैब इस प्रकार हैं:

आय सीमा कर दर
₹0 – ₹4,00,000 कोई टैक्स नहीं
₹4,00,001 – ₹8,00,000 5%
₹8,00,001 – ₹12,00,000 10%
₹12,00,001 – ₹16,00,000 15%
₹16,00,001 – ₹20,00,000 20%
₹20,00,001 – ₹24,00,000 25%
₹24,00,000 से अधिक 30%

ये बदलाव आम लोगों की जेब में अधिक पैसा रखने, खर्च बढ़ाने और निवेश को बढ़ावा देने के लिए किए गए हैं।

आर्थिक सुधार जो विकास को गति देंगे

बजट 2025 में कई नई पहल की गई हैं जो देश की आर्थिक प्रगति को तेज करेंगी:

  • राजकोषीय घाटे में कमी: सरकार का लक्ष्य 2025 में इसे 4.8% और 2026 में 4.4% तक लाना है।
  • इंफ्रास्ट्रक्चर निवेश: ₹1.5 लाख करोड़ राज्यों को 50 साल के लिए ब्याज मुक्त लोन के रूप में दिए जाएंगे, जिससे बुनियादी ढांचे का विकास होगा।
  • किसानों के लिए समर्थन: 1.7 करोड़ किसानों को लाभ देने के लिए हाई-यील्ड क्रॉप स्कीम लागू की जाएगी, जिससे कृषि उत्पादकता और स्थिरता में वृद्धि होगी।
  • गिग इकॉनमी को मजबूती: फ्रीलांसर्स, डिलीवरी पार्टनर्स और कैब ड्राइवर्स जैसे गिग वर्कर्स के लिए स्वास्थ्य और बीमा योजनाएं शुरू की जाएंगी।
  • ग्रीन एनर्जी पर फोकस: सरकार ने 2047 तक 100 गीगावाट न्यूक्लियर एनर्जी उत्पादन का लक्ष्य रखा है।

बजट 2025: किन क्षेत्रों को होगा फायदा?

उद्योग विशेषज्ञों का मानना है कि यह बजट कई क्षेत्रों के लिए लाभकारी रहेगा:

  • उपभोक्ता वस्त्र क्षेत्र: अधिक डिस्पोजेबल इनकम से FMCG और इलेक्ट्रॉनिक्स उत्पादों की बिक्री में वृद्धि होगी।
  • बुनियादी ढांचा विकास: बड़े इंफ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स को प्राथमिकता दी गई है, हालांकि कुछ कंपनियों के स्टॉक्स में उतार-चढ़ाव देखा जा सकता है।
  • कृषि क्षेत्र: नई योजनाओं से किसानों को समर्थन मिलेगा और ग्रामीण अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलेगी।

TDS नियमों में बदलाव और कर अनुपालन में आसानी

सरकार ने टैक्स डिडक्टेड एट सोर्स (TDS) नियमों को सरल बनाने के लिए कुछ बदलाव किए हैं:

  • रेंटल इनकम पर TDS छूट: पहले ₹2.4 लाख तक के किराये पर TDS नहीं लगता था, अब इसे बढ़ाकर ₹3 लाख कर दिया गया है, जिससे छोटे मकान मालिकों को राहत मिलेगी।
  • डिजिटल टैक्स फाइलिंग में सुधार: नया ऑनलाइन इनकम टैक्स पोर्टल लॉन्च किया गया है, जिससे ई-फाइलिंग, रिफंड ट्रैकिंग और टैक्स अनुपालन आसान होगा।

भविष्य की राह: क्या उम्मीद करें?

केंद्रीय बजट 2025 देश की आर्थिक वृद्धि को नई दिशा देने के लिए तैयार किया गया है। 1 अप्रैल 2025 से नया टैक्स सिस्टम लागू होगा, इसलिए करदाताओं को अपने वित्तीय फैसले सोच-समझकर लेने होंगे।

ऑनलाइन टैक्स कैलकुलेटर और परामर्श उपकरण करदाताओं और व्यवसाय मालिकों को कर योजना बनाने में मदद करेंगे। सरकार का लक्ष्य कर अनुपालन को बढ़ावा देना और इसे सरल बनाना है, जिससे भारत की अर्थव्यवस्था पर दीर्घकालिक सकारात्मक प्रभाव पड़ेगा।

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